रफीक खान
मध्य प्रदेश सरकार के कैबिनेट मिनिस्टर कुंवर विजय शाह को कर्नल सोफिया कुरैशी को लेकर दिए गए विवादित बयान मामले में माफी से सुप्रीम कोर्ट में साफ इनकार कर दिया है। मंत्री तथा सरकार को फटकार लगाते हुए जांच के लिए एक एसआईटी गठित करने के भी आदेश दिए हैं। इस SIT में तीन आईपीएस अधिकारी होंगे, जिनमें एक आईजी स्तर का अधिकारी शामिल होगा। साथ ही तीनों आईपीएस अधिकारी मध्य प्रदेश के बाहर से होंगे। इनमें एक अधिकारी महिला होना अनिवार्य होगा। अलबत्ता कोर्ट ने मंत्री की गिरफ्तारी पर अंतरिम रोक लगाने की राहत भी प्रदान कर दी है। एसआईटी 28 मई तक स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करेगी। SC "rejected" minister Vijay Shah's apology, SIT to investigate IPS officers, ban on arrest
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक कहा जाता है कि सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान शाह के वकील ने कहा कि उनके क्लाइंट ने माफी मांग ली है। इस पर कोर्ट ने उन्हें फटकार लगाई। कोर्ट ने कहा कि आप लोगों के सामने पूरी तरह बेनकाब हो चुके हैं। आप पब्लिक फिगर हैं। आपको बोलते समय अपने शब्दों पर विचार करना चाहिए। उल्लेखनीय है कि मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने 14 मई को शाह के बयान पर नोटिस लेते हुए FIR दर्ज करने का आदेश दिया था। कोर्ट के आदेश पर उनके खिलाफ इंदौर के महू थाने में FIR दर्ज की गई थी। इसके खिलाफ शाह सुप्रीम कोर्ट पहुंचे हैं। सुको के जस्टिस सूर्यकांत ने तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा, कभी माफी बचने के लिए मांगी जाती है और कभी यह मगरमच्छ के आंसू समान होती है, आपने भद्दे कमेट किए, अब आपकी माफी का क्या मतलब? सनी के दौरान उपस्थित रहे राज्यसभा सांसद तथा सुप्रीम कोर्ट के सीनियर एडवोकेट विवेक कृष्ण तनखा ने चर्चा के दौरान बताया कि सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने पार्टी से सीधे संवाद किया। कोर्ट ने जमकर फटकार भी लगाई तथा सवाल भी पूछे।